बच्चों के बालों को झड़ने से रोकने के कुछ खास टिप्स,बच्चे के बालों की रोज़ाना देखभाल/ Baccho ke baalo ki dekhbhal

हर बच्चा बालो के साथ पैदा नही होता। कुछ बच्चे गंजे पैदा होते है, कुछ कम बालो वाले और कुछ घने बालों वाले। लेकिन हर बच्चे की scalp का ध्यान रखना बहूत जरूरी होता है। नही तो बहूत सी परेशानियो का सामना करना पड़ सकता है।
बच्चे के बालों की रोज़ाना देखभाल:-
1) बच्चे का पालना / cradle cap:-

यह ज्यादातर 1 साल तक के बच्चों में पाया जाता है।यह दिखने में लाल या पीली मोटी त्वचा होती है।इसको आसानी से पहचाना जा सकता है। ऐसा माना गया है की यह
-सफाई की कमी 
-जन्म के समय हार्मोन ट्रांसफर  
-रूखी त्वचा से होती है
लेकिन इसके लिए ज्यादा परेशान होनी की जरूरत नही है। यह अपने आप साफ़ हो जाती है। यदि कुछ सप्ताह में भी यही ठीक न हो तब विशेषज्ञ को दिखाना चाहिए।
2) तेल की मालिश:-
पुरे शरीर के साथ बच्चे के सर की भी तेल से मालिश करनी चाहिए। सर से खुश्की और रुसी गायब हो जाती है। ब्लड सर्कुलेशन होता है। बच्चे को अच्छी नींद आती है।
3) शैम्पू का इस्तेमाल:-

बच्चा पूरा दिन धूल मिट्टी में खेलता है उसके सर में गन्दगी जम जाती है। बच्चे के सर को धोना जरूरी हो जाता है। स्वस्थ बालों के लिए बालों का साफ होना जरूरी है। बच्चे के बाल रोज शैम्पू से धोना चाहिए।
4) बालो को ट्रिम करना:-

थोड़े समय के बाद बाल अपने आप दोमुहे होने लगते है। बालों में lenght को लाने के लिए बालो का समय पर ट्रीम करना जरूरी होता है। ज्यादा लम्बे बालों से बच्चों को परेशानी होती है। उसके लिए भी बालो का ट्रिम करवाना जरूरी होता है।
5) गंजा करवाना:-
छोटे बच्चों के लिए ये बहूत अच्छा विकल्प है। ऐसा करने से बच्चा comfertable महसूश करता है। बालों का कुछ खास ध्यान भी नही देना पड़ता।
5) Moisturiser का इस्तेमाल:-
गंजे सर का भले ही कुछ ज्यादा ध्यान करना नही पड़ता। यह बच्चे के स्कैल्प को smooth, moisturise और सॉफ्ट रखती है। रुसी से भी निजात पाया जा सकता है।
बच्चे के बालो का झड़ना 
बालो का झड़ना बड़ो के लिए ही नही बच्चे के लिए भी एक समस्या बनती जा रही है। इसका कारण खान-पान के साथ जीवन शैली भी हो सकती है। बालों का झड़ना जिनेटिक भी हो सकता है।
बच्चों के बालों को झड़ने से रोकने के कुछ खास टिप्स:-
1) बच्चों के बालों को कस कर न बांधे। कस कर बंधने से वे स्कैल्प में से खीचते है और बालो के टूटने का खतरा बढ़ जाता है।
2) बच्चों के खान-पान पर ध्यान दे। उन्हें संतुलित भोजन खाने को दे। खान-पान का असर न सिर्फ बालों पर बल्कि बच्चे के शारीरिक और मानसिक विकास पर भी पड़ता है।
3) जिन बच्चों के बाल लम्बे होते है सप्ताह में कम से कम उनको 1 या 2 बार जरूर धोये।
4) बेबी शेम्पु का उपयोग करे।
5) बच्चों को धुप या धूल में न निकलने दे।
बच्चों के बालों के साथ परेशानियां
1) ऐलेपेशिय आरैटा
यह अचानक से शुरू हो जाती है। यह बच्चों में पैच में बालों को झड़ने देता है। यह एक ऐसी स्थिति है जो कमजोर प्रतिरक्षा प्रणाली बालो को नुकसान पहुचती है। यह संक्रमक नही होती। ये पैच बिना किसी टूटे बालो के साथ चिकने दिखाई दे सकते है। सिर पर यह बालों के झड़ने के साथ गोल अंडाकार चकते के जैसे दिखाई दे सकते है। इस स्थिति में बाल कुछ समय बाद अपने आप भी आ सकते है।लेकिन इसके लिए डॉक्टर से सम्पर्क जरूर करना चाहिए।
2) ट्रीकोटिलोमेनिया:-
यह बच्चों में देखा जाता है। इस तरह की समस्या बालो को खीचने, रगड़ने या मोड़ने के कारण होती है। यह बच्चों में मानसिक तनाव के कारण हो सकती है। किसी तरह के बदलाव या और किसी मानसिक तनाव के कारण यह हो सकता है। ये पैच बच्चों में बिना टूटे बालों के साथ देखे जा सकते है।
3) टेलोजेन इफ्लूवियम
बच्चों में इसमें खोपड़ी पर बालों का एक अस्थाई पतलापन हो जाता है। यह बहुत सारे बालों के आराम करने वाले चरण में प्रवेश करने के कारण होता है। जिससे बालो में पतलापन आ जाता है।


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